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नई शिक्षा नीति (NEP) 2020 का कार्यान्वयन: 2025-2026

नई शिक्षा नीति (NEP) 2020 का कार्यान्वयन: 2025-2026

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1 नई शिक्षा नीति (NEP) 2020 का कार्यान्वयन: 2025-2026

भारत में नई शिक्षा नीति (NEP 2020) को 2025-2026 तक पूरी तरह लागू करने का लक्ष्य है। इस नीति का उद्देश्य शिक्षा को अधिक समावेशी, आधुनिक और कौशल-आधारित बनाना है। 2025-2026 तक विभिन्न स्तरों पर कई महत्वपूर्ण सुधारों को प्रभावी रूप से लागू किया जाएगा।

1. स्कूली शिक्षा में सुधार (School Education)

नई संरचना: 5+3+3+4 प्रणाली का पूर्ण कार्यान्वयन

  • 2025-26 तक पारंपरिक 10+2 प्रणाली समाप्त हो जाएगी, और नई 5+3+3+4 संरचना पूरी तरह लागू होगी।
  • प्रारंभिक शिक्षा (3-6 वर्ष) को “फाउंडेशनल स्टेज” में शामिल किया जाएगा।
  • बच्चों को खेल-आधारित और गतिविधि-आधारित सीखने पर अधिक ध्यान दिया जाएगा।

मातृभाषा में शिक्षा

  • 2025-26 तक सभी सरकारी और कई निजी स्कूलों में कक्षा 5 तक मातृभाषा/क्षेत्रीय भाषा में शिक्षा लागू की जाएगी।
  • NCERT और राज्य बोर्डों द्वारा मातृभाषा में नए पाठ्यक्रम विकसित किए जा रहे हैं।

व्यावसायिक शिक्षा और स्किल डेवलपमेंट

  • कक्षा 6 से ही इंटर्नशिप और स्किल-आधारित पाठ्यक्रम पूरी तरह लागू कर दिए जाएंगे।
  • 2025-26 तक, सभी माध्यमिक विद्यालयों के 50% छात्रों को व्यावसायिक शिक्षा से जोड़ा जाएगा।
  • कोडिंग, डेटा साइंस, AI और साइबर सुरक्षा जैसे आधुनिक विषय स्कूली पाठ्यक्रम में जोड़े जा रहे हैं।

मल्टीपल एंट्री और एग्जिट सिस्टम

  • छात्र यदि किसी कारणवश पढ़ाई छोड़ते हैं, तो वे बाद में उसी स्तर से अपनी पढ़ाई फिर से शुरू कर सकेंगे।

2. उच्च शिक्षा में बदलाव (Higher Education Reforms)

चार वर्षीय स्नातक डिग्री (FYUP) का पूर्ण कार्यान्वयन

  • 2025-26 तक सभी विश्वविद्यालयों में 4-वर्षीय स्नातक प्रोग्राम (FYUP) अनिवार्य रूप से लागू होगा।
  • छात्रों को मल्टीपल एंट्री और एग्जिट सिस्टम के तहत अलग-अलग स्तर पर सर्टिफिकेट, डिप्लोमा, या डिग्री मिलेगी।

राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा आयोग (HECI) की स्थापना

  • HECI (Higher Education Commission of India) 2025-26 तक पूरी तरह काम करने लगेगा।
  • यह संस्था उच्च शिक्षा की गुणवत्ता को बनाए रखने के लिए AICTE, UGC और अन्य नियामक निकायों को नियंत्रित करेगी।

अकादमिक क्रेडिट बैंक (ABC) प्रणाली

  • 2025-26 तक सभी कॉलेज और विश्वविद्यालय क्रेडिट बैंक प्रणाली से जुड़ जाएंगे, जिससे छात्र अपनी पढ़ाई को लचीले तरीके से पूरा कर सकेंगे।

शोध और नवाचार पर विशेष ध्यान

  • राष्ट्रीय अनुसंधान फाउंडेशन (NRF) पूरी तरह कार्यशील हो जाएगा, जिससे अनुसंधान और नवाचार को बढ़ावा मिलेगा।
  • भारत को वैश्विक रिसर्च हब बनाने की दिशा में प्रयास होंगे।

3. शिक्षक प्रशिक्षण और सशक्तिकरण (Teacher Training & Development)

शिक्षकों की नई ट्रेनिंग नीति लागू

  • 2025-26 तक सभी शिक्षकों को राष्ट्रीय व्यावसायिक मानक (NPST) के तहत ट्रेनिंग दी जाएगी।
  • 4-वर्षीय इंटीग्रेटेड B.Ed. कोर्स सभी शिक्षण संस्थानों में लागू कर दिया जाएगा।
  • डिजिटल टीचिंग टूल्स को सभी स्कूलों में अनिवार्य किया जाएगा।

4. डिजिटल और ऑनलाइन शिक्षा का विस्तार (Digital Education)

नेशनल डिजिटल एजुकेशन प्लेटफॉर्म (NDEAR) का पूर्ण कार्यान्वयन

  • 2025-26 तक ग्रामीण क्षेत्रों में 100% स्कूलों को डिजिटल संसाधनों से जोड़ा जाएगा।
  • SWAYAM, Diksha और ePathshala जैसे ऑनलाइन लर्निंग प्लेटफॉर्म्स को और मजबूत किया जाएगा।

AI, रोबोटिक्स, और डेटा साइंस पर ध्यान

  • नए डिजिटल पाठ्यक्रम विकसित किए जा रहे हैं, जिससे छात्रों को आधुनिक तकनीकों से परिचित कराया जाएगा।

5. मूल्यांकन प्रणाली में सुधार (Assessment Reforms)

पारंपरिक बोर्ड परीक्षा प्रणाली में बदलाव

  • 2025-26 से कक्षा 10 और 12 की बोर्ड परीक्षाओं का स्वरूप बदल दिया जाएगा।
  • परीक्षाओं में कॉन्सेप्ट-आधारित लर्निंग और केस-स्टडी आधारित प्रश्न शामिल किए जाएंगे।
  • ओपन बुक एग्जाम और सेमेस्टर सिस्टम को बढ़ावा दिया जाएगा।

2025-26 तक अपेक्षित परिणाम (Expected Outcomes)

50% छात्र व्यावसायिक शिक्षा से जुड़ जाएंगे।
सभी विश्वविद्यालय मल्टी-डिसिप्लिनरी शिक्षा प्रणाली अपनाएंगे।
डिजिटल शिक्षा को ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में लागू किया जाएगा।
शिक्षकों को आधुनिक शिक्षण तकनीकों से लैस किया जाएगा।
भारत को ग्लोबल रिसर्च और इनोवेशन हब बनाने की दिशा में मजबूती मिलेगी।

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